काश! एडीजी की तरह रेलवे के अधिकारी भी हो जाते गम्भीर
डीडीयू नगर स्टेशन के लूटखसोट का खुल जाता पोल
ट्रासंफर के बाद भी वर्षों से जमें पड़े आरपीएफ के कारखास
Chandauli news: काश! एडीजी जोन वाराणसी पीयूष मोर्डिया की तरह रेलवे के अधिकारी भी गम्भीरता दिखाते। तो डीडीयू नगर स्टेशन के लूट खसोट का खुलासा हो जाता। कारण की वर्षो से ट्रांसफर होने के बाद यहां कारखास का काम देख रहे लोग दूसरे स्थान पर नही गए। कुछ तो प्रमोशन होने के बाद भी यहीं जमे पड़े है। इन सभी की ऊंची पकड़ के कारण कमांडेंट स्तर के अधिकारी अपने अधिकार का प्रयोग करने में बौना साबित हो रहे।
स्टेशन पर अवैध वेंडिंग, ट्रेन से शराब तस्करी, कोयला चोरी, तेल चोरी जैसे कई मलाईदार कार्य फल फूल रहे है। जिसके बदले में इस कार्य में लिप्त ब्यक्ति अच्छी खासी रकम आरपीएफ को देते है।
बता दे की जहां केंद्र की सरकार और राज्य की सरकार भ्रष्टाचार को खत्म करने की बात कर रही हो वही सेंट्रल की फोर्स भ्रष्टाचार में पूरी तरीके से डूबी हुई है डीडीयू जंक्शन पर तैनात आरपीएफ की भूमिका हम है रेलवे की सुरक्षा के लिए आरपीएफ और सीआईबी रेलवे क्राइम ब्रांच को तैनात किया गया है लेकिन रेलवे की सुरक्षा क्या करें रेलवे को ही बेचने पर ये एजेंसी या आमादा है डीडीयू जंक्शन हावड़ा दिल्ली रेल रूट का सबसे व्यस्ततम स्टेशन माना जाता है। प्रतिदिन हजारों यात्री इस जंक्शन से आते और जाते हैं देश की धड़कन कहीं जाने वाली राजधानी भी डीडीयू जंक्शन से होकर गुजरती है प्रतिदिन केंद्र और राज्य के मंत्री भी डीडीयू जंक्शन से ही दिल्ली और लखनऊ जाते हैं। बावजूद इसके आरपीएफकर्मी अपनी अवैध कमाई में जुटे हुए हैं डीडीयू जंक्शन पर होने वाली अवैध कमाई का कजरिया अवैध वेंडिंग,कोयला चोरी,तेल चोरी बिहार से सटे होने की वजह से शराब की भी तस्करी डीडीयू जंक्शन से जोरों पर है आरपीएफकर्मी लाखों रुपए का कमाई करते हैं कुछ ही कदम की दूरी पर बैठे मंडल के शाखा अधिकारी भी कारखासों के आगे नतमस्तक हैं।
कारखासों का इतना बोलबाला है कि ट्रांसफर होने के बाद भी जमे है।